नैनीताल ::- राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत बुजुर्गों की देखभाल के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम के अंतर्गत राज्य अतिथि गृह नैनीताल मे नर्सिंग अधिकारियो के साथ तीन दिवसीय कुमाऊं मंडलीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारंभ डॉ.डीके टम्टा अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी नैनीताल द्वारा दीप प्रज्वलित कर किया गया।
डॉ. तरुण कुमार टम्टा द्वारा बताया गया कि वृद्धावस्था एक कठिन अनुभव हो सकता है जब आपका स्वास्थ्य बिगड़ने लगता है और आप अपनी दैनिक गतिविधियों के लिए दूसरों पर निर्भर हो जाते हैं। यह वो समय है जब बुजुर्गों को सबसे अधिक देखभाल की आवश्यकता होती है। यद्यपि जीवन की आधुनिक बाधाओं के कारण काफी बार लोगों को अपने बुजुर्गों की देखभाल करने की अनुमति नहीं मिल पाती, लेकिन वे हमेशा अपने जीवन के सुचारू कामकाज के लिए उपयुक्त एल्डर होम केयर का विकल्प चुन सकते हैं। वरिष्ठ देखभाल की आवश्यकता कब होती है?
वृद्धों की देखभाल तब आवश्यक हो जाती है जब वृद्ध लोग दैनिक जीवन की गतिविधियों जैसे खाना बनाना, सफाई करना, नहाना, दवाएँ लेना आदि को करने में असमर्थ होने लगते हैं और परिवार का कोई सदस्य उन्हें देखने के लिए उपलब्ध नहीं होता है। वृद्ध लोगों में विभिन्न प्रकार की बीमारियां और शारीरिक अक्षमताएं भी उनके लिए एल्डर केयर अनिवार्य बनाती हैं, ताकि वे भी स्वतंत्र रूप से और गरिमा के साथ जी सकें।
वरिष्ठ देखभाल के प्रकार की आवश्यकता वृद्ध व्यक्ति की स्वास्थ्य स्थिति और समस्या की गंभीरता और देखभाल के प्रकार पर निर्भर करती है। अधिकांश लोगों को पूर्णकालिक नर्सों की आवश्यकता नहीं होती है, जबकि कुछ ऐसे होते हैं जिन्हें अपनी समस्या की गंभीरता के कारण 24/7 देखभालकर्ता की आवश्यकता होती है।

प्रशिक्षण के प्रथम दिवस में मुख्यतः निम्नलिखित विषयों पर चर्चा की गई
मदन महेरा जिला कार्यक्रम प्रबंधक द्वारा कहा गया बुजुर्गों की देखभाल में स्टाफ नर्स की जिम्मेदारी एंड जवाबदेही, बुजुर्गों की समस्या में बुढ़ापे की प्रक्रिया, बुजुर्गों का मूल्यांकन, गैर गैर संचारी रोगों के साथ नर्सिंग देखभाल, बुजुर्गों के साथ संक्रमण नर्सिंग देखभाल आदि विषयों पर चर्चा की गई।
प्रशिक्षण में डॉक्टर एमएस दुग्ताल, मेट्रन शशि कलापांडे बीडी पांडे जिला चिकित्सालय नैनीताल डॉ.सोनल, डॉ गौरव अरोड़ा, डॉक्टर अंकित तिवारी, स्टाफ नर्स सतीश सती द्वारा प्रतिभागियों को प्रशिक्षण दिया गया।
प्रशिक्षण में मदन मेहरा ,सुनीता भट्ट, मनोज बाबू, सपना कांडपाल, देवेंद्र बिष्ट ,दीवान बिष्ट, हरेंद्र कठायत, आदि द्वारा योगदान दिया गया।