मालधनचौड़ /रामनगर::- राजकीय महाविद्यालय मालधनचौड़ में प्राचार्या डॉ. सुशीला सूद के निर्देशन में संविधान निर्माता डॉ. भीमराव अंबेडकर जयंती के उपलक्ष्य में ‘संविधान का महत्व’ विषय पर एक दिवसीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया।
राजनीति विज्ञान विभाग के प्रो.मनोज कुमार ने संविधान के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संविधान देश के प्रशासन को सुचारू रूप से चलाने के लिए नियमों का निर्माण संविधान द्वारा किया जाता है। संविधान के अनुसार मूल शक्ति प्रत्येक राष्ट्र की जनता में निहित होती है, ताकि कोई भी व्यक्ति सत्ता तक ना पहुंचे।
संगोष्ठी में हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. खेमकरण ‘सोमन’ ने अमरीका, कनाडा और स्विटजरलैंड सहित भारत की संवैधानिक यात्रा करते हुए भारत देश के ‘संविधान के महत्व’ पर अपना सारगर्भित व्याख्यान दिया और कहा कि नागरिकों और जिम्मेदार पदाधिकारियों को अपने कर्तव्य और अधिकार ज्ञान होना ही भारत देश की मजबूती का आधार है। संविधान के महत्व के कारण ही वर्तमान में भारत प्रगति और विकास के शिखर को स्पर्श कर रहा है, लेकिन भारत को अपने संविधान के बल पर अभी बहुत से जमीनी कार्य करने हैं।
प्रो. प्रदीप चंद्र ने डॉ. भीमराव अंबेडकर के जीवन उपलब्धि पर प्रकाश डालते हुए कहा कि डॉ. भीमराव अंबेडकर ने शिक्षा को सर्वोपरि रखा ताकि वे बेहतर समय, समाज, देश और संविधान के निर्माण में अपनी भूमिका का निर्वहन कर सके।
इस अवसर पर महाविद्यालय की प्राचार्या प्रो. सुशीला सूद ने छात्र-छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि देश का संविधान दुनिया का सर्वश्रेष्ठ संविधान है। इसी के कारण सहिष्णुता की दृष्टि से भारत देश वर्तमान में दुनिया का सबसे सुंदर और सुखद देश है।
कार्यक्रम का संचालन प्रो. मनोज कुमार ने किया। संगोष्ठी में डॉ. आनंद प्रकाश, अंजली, श्वेता, पूनम, आर्यन, गौरव चंदोला, संजय कुमार, आदित्य, सलोनी, नेहा, प्रीती, अंकिता और नीतू उपस्थित रहीं।