अल्मोड़ा ::- दृश्यकला संकाय एवं चित्रकला विभाग के प्रर्दशनी कक्ष मे चल रही दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला। कला योगी पद्मश्री बाबा योगेन्द्र की स्मृति में “श्रृद्धांजलि सभा” कला या विमुक्ताये पूरी होने के बाद बने चित्रो की प्रर्दशनी गुरुवार को लगायी गई। प्रो. नरेन्द्र सिंह भण्डारी कुलपति सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय अल्मोड़ा ने कार्यशाला मे बने चित्रो का अवलोकन कर प्रतिभागी कलाकारों को बधाई दी और भविष्य मे भी उनकी प्रतिभा विकास के लिए ऐसे कार्यक्रम करने का आश्वासन दिया
कार्यशाला में बने चित्रो की भव्य प्रर्दशनी दृश्यकला संकाय एवं चित्रकला विभाग के प्रर्दशनी कक्ष मे दर्शकों के अवलोकन के लिए लगायी जा रहा है और प्रर्दशित चित्रो मे से कलात्मकता मे सर्वर्श्रेष्ठ चित्रो का चयन समिति द्वारा 5 सर्वश्रेष्ठ संयोजन, श्रेष्ठ चित्रण के लिए 5 चित्रो का और प्रतिभा प्रोत्साहन पुरस्कार के लिए कुल 15 चित्रो का चयन किया जायेगा है जिसकी घोषणा यथाशीघ्र कर दी जायेगी।
कार्यशाला में परामर्श मण्डल के रूप में जुड़े संस्कार भारती प्रांत उत्तराखंड के सम्मानित सदस्य, देवेन्द्र रावत (क्षेत्र प्रमुख), पंकज अग्रवाल (महामंत्री), सविता कपूर (अध्यक्ष), अभिषेक पाठक(सह कोषाध्यक्ष), गिरीश चन्द्र शर्मा (कार्यकारी अध्यक्ष) ने उत्कृष्ट विचार पूर्ण चित्रण के लिए ढेरों शुभकामनाएं प्रेषित की और कहां कि इन कलाकारों के चहुमुखी विकास के लिए वह हर तरह से समर्पित रहेंगे।
कार्यशाला निर्देशिका प्रो. सोनू द्विवेदी शिवानी ने बताया कि यह कार्यशाला अपने उद्देश्य को पूर्ण करने मे सफल रही है यहां पर बने चित्र युवा कलाकारों की कलात्मक प्रतिभा का दर्शनीय उदाहरण है जिनमे कला योगी बाबा योगेंद्र के भारतीय कला के विकास में समर्पित राष्ट्र भक्त जीवन सजीव हो रहा है कला आज के युवाओं के विचारो को रचनात्मक दिशा तथा स्वरोजगार का माध्यम दे रही है आवश्यकता है बस इनकी युवा ऊर्जा को सही दिशा मे वैचारिक क्षमता के साथ उन्मुख करने की दर्शक यदि इस तरह के चित्र बनवाने चाहे तो वह कलाकारों से मिल कर उनसे उचित मूल्य पर इच्छानुसार चित्र बनाने का निवेदन कर सकेंगे।
इसके साथ ही अब इस तरह के कार्यशाला मे बने चित्रो की आनलाईन सेल प्रर्दशनी यथाशीघ्र विश्वविद्यालय एवं दृश्यकला संकाय के वेबसाइट, यू ट्यूब चैनल और फेसबुक पर देशभर के कलाप्रेमियों के लिए किया जायेगा जिससे वह चित्र बनवाने के लिए उचित मूल्य पर कलाकारों से सम्पर्क कर सकेंगे और युवा कलाकारों को अध्ययन के साथ धनार्जन का माध्यम भी बन सकेगा।
प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर भारत की कौशल और उद्यम विकास योजना के तहत् विश्वविद्यालय इस तरह के कार्यक्रम का आयोजन निरंतर कर रहा है जिनमे युवा कलाकारों की उत्साहजनक उपस्थित उत्तराखंड के कलाकारों को सरकार के कौशल विकास योजना के अन्तर्गत उद्ममशील बनने की दिशा मे सफलता के साथ अग्रसर हो सके।