नैनीताल ::- यूजीसी-मानव संसाधन विकास केन्द्र, कुमाऊँ विश्वविद्यालय की एकेडेमिक एडवाइजरी कमेटी की बैठक शुक्रवार को कुलपति प्रो. एनके जोशी की अध्यक्षता में आयोजित की गई। बैठक में शिक्षा एवं शिक्षण के क्षेत्र में अनुसंधान, प्रशिक्षण कार्यक्रमों के निर्माण एवं कार्यान्वयन के साथ ही उन्नत स्तर की प्रशिक्षण के लिए व्यवस्था आदि बिंदुओं पर सदस्यों द्वारा सर्वसम्मिति से निर्णय लिये गये।
एकेडेमिक एडवाइजरी कमेटी की सदस्य सचिव प्रो. दिव्या उपाध्याय जोशी ने सभी सदस्यों का स्वागत करते हुए यूजीसी-मानव संसाधन विकास केन्द्र, कुमाऊँ विश्वविद्यालय की विभिन्न उपलब्धियों के विषय में सदस्यों को अवगत कराया कि पिछले तीन शैक्षणिक सत्रों में देश के विभिन्न राज्यों के 1602 शिक्षकों को विभिन्न प्रशिक्षण कार्यक्रमों में प्रमाणपत्र प्रदान किये गये।
कुलपति प्रो. एनके जोशी ने कहा कि हाल में ही विश्वविद्यालय अनुदान आयोग द्वारा एचआरडीसी नैनीताल को देश में चौथा स्थान प्रदान किया गया है और विश्वविद्यालय का यूजीसी-मानव संसाधन विकास केन्द्र देश के अन्य यूजीसी-मानव संसाधन विकास केन्द्रों की तुलना में बेहतर कार्य कर रहा है। यूजीसी-मानव संसाधन विकास केन्द्र द्वारा उच्च शिक्षा के हितधारकों शिक्षकों और गैर-शैक्षणिक कार्मिकों के क्षमता निर्माण के लिए महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन किया जा रहा है। यह गर्व का विषय है कि विश्वविद्यालय का यूजीसी-एचआरडीसी ना सिर्फ राज्य के भीतर बल्कि देशभर में उच्च शिक्षा के प्रशिक्षण में महत्तम योगदान दे रहा है।
बैठक में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के पूर्व सचिव व वर्तमान में बीआर अम्बेडकर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. देव स्वरूप, भरसार विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.अजित कुमार कर्नाटक, जामिया ईस्लामिया विश्वविद्यालय के एचआरडीसी के निदेशक प्रो.अनिसुर रहमान, सौराष्ट्र विश्वविद्यालय गुजरात के एचआरडीसी के निदेशक प्रो. कलाधर आर्या, कुमाऊँ विश्वविद्यालय नैनीताल के वरिष्ठ आचार्य प्रो. संजय पंत, प्रो.नीता बोरा शर्मा, महिला महाविद्यालय हल्द्वानी की प्राचार्या डॉ.शशि पुरोहित, प्रभारी कुलसचिव कुमाऊँ विश्वविद्यालय दुर्गेश डिमरी ने प्रतिभाग किया।
बैठक में सहायक निदेशक डॉ रीतेश साह, अनुभाग अधिकारी डॉ.आरएस बोरा, इन्द्र सिंह नेगी, जसोद सिंह बिष्ट, अरविन्द सिंह, कैलाश जोशी एवं राजेन्द्र सिंह बिष्ट उपस्थित रहे।